Friday, 9 February 2024

लक्ष्य

शूर्पणखा को राम चाहिए 
और लक्ष्मण भी,
भाई का सत्कार 
और प्यार भी,

सूर्पनखा की पीएचडी 
BJP होने ना दे पूरी,
सूर्पनखा की सहेली 
उसके प्यार से खेली,
शूर्पणखा को चाहिए 
काम भी और आराम भी!

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